पुस्तक चर्चा ! संवेदनशील विषय पर कौशल दक्षता के साथ लिखी गई अत्यंत महत्वपूर्ण पुस्तक….
जांजगीर चाम्पा – 20 जुलाई 2022
पुलिस श्वान प्रशिक्षण एवं प्रबंधन : लेखक विजय कुमार अग्रवाल, पुलिस अधीक्षक जांजगीर-चांपा
हिंदी में ‘ पुलिस और श्वान प्रशिक्षण विषय ‘ पर आख्यान अभी भी बहुत कुछ मुश्किल विद्या हैं । बहुत कम लोग इस विषय पर अपनी क़लम चलाते हैं । इसके साथ ही बहुत ही कम पुस्तकें हैं , जो जर्मन सैइफड नस्ल या दुसरे शब्दों में खोजी डांग के विषयों में अपनी क़लम चलाई हो आजकल विभिन्न स्थलों पर चोरी , डकैती, लुटपाट, मारपीट अपराधिक मामले बढ़तें जा रहें हैं । मादक पदार्थों में लिप्त व्यक्तियों की संख्या में बढ़ोतरी हो रही हैं और उनसे बड़ी तादाद में ऐसी वस्तुएं बरामद हो रही हैं । अपराधिक मामले में सबूत की आवश्यकता होती हैं , ऐसे में साक्ष्य के रुप में छुपाकर रखी हुई वस्तुओं को ढूंढ़ना मुश्किल कार्य हैं । ऐसे में जर्मन सैइफड और बैल्गिन मेलानिया नस्ल के खोजी श्वानों की आवश्यकता पड़ती हैं और उन्हें प्रशिक्षण के द्वारा संदिग्ध व्यक्तियों और वस्तुओं की पहचान कराई जाती हैं । इन्ही विषयों को लिपिबद्ध करके एक पुस्तक ” पुलिस श्वान प्रशिक्षण एवं प्रबंधन ” पर कृति में सभी बातों का समावेश किया गया हैं।
राष्ट्रवादी लोकप्रिय हिंदी दैनिक स्वदेश जांजगीर-चांपा के ब्यूरो चीफ पवन कुमार अग्रवाल को स्वयं पुलिस अधीक्षक विजय अग्रवाल ने यह पुस्तक भेट किया । उन्होंने चर्चा करते हुए बताया कि संवेदनशील खोजी प्रवृत्ति के श्रीयुत विजय कुमार अग्रवाल जांजगीर-चांपा जिले के पुलिस अधीक्षक हैं । वे भारतीय प्रशासनिक सेवा के अधिकारी रह चुके हैं । वे संवेदनशील व्याख्याकार हैं । पुलिस के बड़े कप्तान होते हुए भी उनका स्वभाव अत्यंत सरल हैं । वे जितने बुद्धिमान हैं , उतने ही धैर्यवान भी । बुद्धि, विद्या और चातुर्य से वे हर समस्याओं को सुलझाने की क्षमता रखते हैं । इस पुस्तक के रचनाकार विजय अग्रवाल जी ही हैं। उन्होंने इस पुस्तक में श्वान के पूर्वज, विभिन्न प्रजातियां , श्वान को होने वाली बीमारियां , उपचार,डाईट और हेल्थ के साथ-साथ छत्तीसगढ़ श्वान दल का गठन , श्वान की उपलब्धियां आदि-आदि जानकारियों का विस्तृत विवेचन इस कृति में संग्रहित हैं । यह विवेचन एक इंसान के दिल में पशु के प्रति इंसानियत जगा सके मेरी सोच के अनुसार शायद यह पुस्तक विजय अग्रवाल जी ने ध्येय करके लिखा होगा ।
साहित्यकार शशिभूषण सोनी ने भी श्वान प्रशिक्षण एवं अनुसंधान विषय पर लिखित इस पुस्तक की सराहना की हैं । उन्होंने कहा कि अपराधियों की धरपकड़ और नशीले पदार्थों का पता लगाने में यह पुस्तक कारगार साबित हो रही हैं ।
दैनिक स्वदेश के पवन कुमार अग्रवाल को पुलिस अधीक्षक विजय कुमार अग्रवाल द्वारा उपहार स्वरूप भेट की गई हैं। लगातार सीखने की कोशिश करने वाले और कुछ नया करने वाले ध्येय के पक्के विजय अग्रवाल की यह पुस्तक प्रभावपूर्ण सरल भाषा में लिखी गई हैं । मुख्य पृष्ठ पर ही ‘ पुस्तक और श्वान ‘ को इंगित करते हुए यह कृति पाठकों के लिए उपयोगी साबित होगी । पुलिस संस्थान के लिए तो अत्यंत उपयोगी हैं ही । बाजार में आने के बाद पाठकों को अच्छा प्रतिसाद मिलेगा , ऐसी उम्मीद की जानी चाहिये । समाज के सबसे वफादार साथी श्वानों के विषय में यह पुस्तक बहुत ही बहुत ही सुंदर , उपयोगी , प्रेरक, अनुपमेय और शोधपरक पुस्तक साबित होगी ।
पुस्तक का नाम : पुलिस श्वान प्रशिक्षण एवं प्रबंधन
लेखक : विजय कुमार अग्रवाल, भारतीय पुलिस सेवा , वर्तमान पुलिस अधीक्षक जिला मुख्यालय जांजगीर-चांपा
सहयोगी लेखक : सुरेश सिंह कुशवाहा
प्रकाशक : राज्य खान प्रशिक्षण केंद्र 7-वीं वाहिनी छत्तीसगढ़ सशस्त्र बल भिलाई ( छत्तीसगढ़ )